कनक तिवारी विवेकानन्द, गांधी, नेहरू, अम्बेडकर, लोहिया और भगतसिंह से प्रेरित सीनियर एडवोकेट, लेखक, विचारक तथा वक्ता। अंगरेज़ी साहित्य के प्राध्यापक। प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडिया, नवभारत टाइम्स, नवभारत, नागपुर टाइम्स सहित समाचार पत्रों से संबंद्ध रहे। एल एल0 बी0 में स्वर्ण पदक। सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएषन, बार एसोसिएषन ऑफ इंडिया, छत्तीसगढ़ बार एसोसिएषन और इंडियन लॉ इन्स्टीट्यूट के सदस्य। छत्तीसगढ़ के पूर्व एडवोकेट जनरल। सुप्रीम कोर्ट के पूर्व मुख्य न्यायाधीष द्वय पी0एन0 भगवती तथा रमेषचंद्र लाहोटी तथा जज गोवधर्नलाल ओझा, देवदत्त माधव धर्माधिकारी, अनंगकुमार पटनायक इतिहासकार धर्मपाल, समाजवादी सच्चिदानंद सिन्हा, लेखक विद्यानिवास मिश्र, निर्मल वर्मा, गजानन माधव मुक्तिबोध, पदुमलाल पुन्नालाल बख्षी, डॉ0 बलदेव प्रसाद मिश्र, नरेष मेहता, विनोद कुमार षुक्ल और अषोक वाजपेयी आदि के आत्मीय। छात्र जीवन में जवाहरलाल नेहरू तथा लालबहादुर षास्त्री का इन्टरव्यू किया। एषिया तथा यूरोप के कई देषों की यात्राएं। 1990 में मध्यप्रदेष कांग्रेस कमेटी के महामंत्री। छत्तीसगढ़ राष्ट्रभाषा प्रचार समिति के कार्यकारी अध्यक्ष, मध्यप्रदेष लघु उद्योग निगम, मध्यप्रदेष गृह निर्माण मंडल तथा हिन्द स्वराज षोधपीठ (कुषाभाऊ ठाकरे पत्रकारिता तथा जनसंचार विष्वविद्यालय, रायपुर) के अध्यक्ष रहे। मध्यप्रदेष महात्मा गांधी 125 वां जन्म वर्ष समारोह समिति के राज्य समन्वयक रहते 75 पुस्तक पुस्तिकाओं का संपादन तथा सौ महत्वपूर्ण आयोजन किए। बहुसंस्करणीय हिन्दी अखबार ‘हरिभूमि‘, अंगरेजी दैनिक ‘हितवाद‘, नवभारत, जनसत्ता तथा कई पत्रों में कॉलम प्रकाषित। प्रकाषित पुस्तकें: संविधान का सच, काल इनमें ठहर गया है (अंतकर्थाएं), फिर से हिन्द स्वराज, बस्तर-लाल क्रांति बनाम ग्रीन हंट, हिन्द स्वराज का सच, विवेकानन्द का जनधर्म, गांधी और पंचायती राज, छत्तीसगढ़ के विवेकानन्द , गांधी का देष, जिरहनामा, संविधान की पड़ताल, रेत पर पिरामिडः गांधी एक पुनर्विचार तथा सबले बढ़िया छत्तीसगढ़िया, विधि टेस्टामेंट की जेनेसिस कथा, गांधी का नागरिक धर्म। सम्पर्क एच. आई. जी. 155, पद्मनाभपुर, दुर्ग-491001 (छत्तीसगढ़) मोबाइल-94252-20737, 9131255864